नई दिल्ली, 26/09/2018 : चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली 5 जजों की संवैधानिक पीठ ने बुधवार को आधार की अनिवार्यता पर अपना फैसला सुना दिया। सुप्रीम कोर्ट ने कई चीजों के लिए आधार को गैरजरूरी करार दिया है। आधार पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुताबिक अब प्राइवेट कंपनियों को आधार देना जरूरी नहीं होगा। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि प्राइवेट कंपनियां आधार नहीं मांग सकती हैं। कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए कहा कि बैंक, स्कूल और मोबाइल सिम के लिए आधार देना जरूरी नहीं है।
अधार पर जस्टिस सीकरी ने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा और जस्टिस खानविलकर की तरफ से फैसला पढ़ते हुए कहा कि सरकार यह सुनिश्चित करे कि अवैध प्रवासियों को आधार न दिया जाए। कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा कि वह आधार डाटा की सुरक्षा के लिए जल्द से जल्द एक मजूबत कानून बानए। जस्टिस सीकरी ने कहा, “हमें लगता है कि बायोमेट्रिक की सुरक्षा के पुख्ता उपाय हैं। किसी व्यक्ति का डाटा रिलीज करने से पहले उसे जानकारी दी जाए।”
कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए कहा, “किसी जानकारी का जारी होना क्या राष्ट्रहित में है या नहीं? यह उच्च स्तर पर तय हो। जानकारी जारी करने का फैसला लेने में हाई कोर्ट जज की भी भूमिका हो। आधार एक हद तक निजता में दखल है, लेकिन जरूरत को देखना होगा।”
जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा, स्वतंत्र रेगुलेटरी फ्रेमवर्क नहीं होने की वजह से डाटा की सुरक्षा से समझौता हो रहा है। उन्होंने कहा कि आधार अधिनियम अनुच्छेद 14 के तहत टेस्ट में पास नहीं होता है। जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि आधार निजता और डाटा की सुरक्षा के अधिकारों का उल्लंघन करता है। उन्होंने कहा कि तकनीकी गलती की वजह से संवैधानिक गारंटी से समझौता नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि आधार प्रोग्राम पूरी तरह से असंवैधानिक है।
इन चीजों के लिए आधार जरूरी नहीं:
- बैंक खाता खोलने के लिए आधार जरूरी नहीं
- प्राइवेट कंपनियां आधार कार्ड नहीं मांग सकती हैं
- स्कूलों में एडमिशन के लिए आधार जरूरी नहीं
- बोर्ड एग्जाम के लिए आधार जरूरी नहीं
- सीबीएसई, यूजीसी और नीट परीक्षा के लिए आधार जरूरी नहीं
- मोबाइल सिम के लिए आधार देना जरूरी नहीं
इन चीजों के लिए जरूरी है आधार:
- पैन कार्ड से आधार लिंक कराना जरूरी
- इनकम टैक्स फाइल करने के लिए आधार जरूरी