VS अस्पताल प्रशासन ओर नीजी दवाई विक्रेता की साँठगाँठ से मरीज कई दवाईयाँ बाहर से खरीदनें पर मजबूर; विधायक-पार्षद मसले पर है खामौश

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VS में इलाज के लिए आनेवालें आम लॉगों को ज्यादातर हुआ है इस बात का अनुभव

अहमदाबाद, गुजरात : अपने शहरीजनों को मुफ्त में चिकित्सा प्रदान करना हर इक म्युनिसिपल प्रशासन पर लाजमी है इस के उलट अहमदाबाद के मशहूर VS अस्पताल में ईलाज करवाने के लिए आ रहे मरीजों की जेबों से नीजी दवाई विक्रेता की जेब बरसों से भरी जा रही है ओर इस मामले पर शहर के सभी विधायक-पार्षद खामौश है।

पुराना VS अस्पताल बंद होने के बाद भी उसकी OPD सेवाएँ चल रही है ओर चलनी भी चाहिए क्युँकि शहर के आम लोग म्युनिसिपल सेवा के लिए तरह-तरह का टेक्ष देते है जिसका पैसा उनकी शिक्षा, चिकित्सा, रोड-रास्तें और अन्य सिविक सेवाओ में प्रशासन द्वारा लगाया जाता है। पीछले कुछ सालों से VS अस्पताल में दवाईयों को ले कर कुछ एसा खेल खेला जा रहा है जिससे नीजी दवाई विक्रेता खूब पैसे बना रहे है।

News 5 ने जब सच जानने की कोशिश की तो पता चला कि अपने मर्ज का इलाज करवानें जो मरीज VS अस्पताल आते है उन्हें डॉकटर्स जो दवाईयाँ लिख कर देते है उनमें से कुछ दवाई अस्पताल के मेडीकल स्टोर से मुफ्त में मील जाती है जबकि कई दवाईयों को बाहर के जो विक्रेता है उनसे लेने को कहा जाता है ओर यह सिलसिला आज से नहीं कई सालों से चल रहा है। VS में इलाज के लिए आनेवालें आम लॉगों को ज्यादातर इस बात का अनुभव हुआ है। दवाईयों के नीजी विक्रेता अपनी मरजी के मुताबिक लोगों से दाम वसुलते है जिस पर प्रशासन की कोई पकड नहीं है।

News 5 का अहमदाबाद म्युनिसिपल कोर्पोरेशन प्रशासन से सीधा सवाल है कि VS अस्पताल में लोगों को सारी दवाईयाँ क्युँ मुहैया नहीं करवाई जाती? लोगों को नीजी दवाई विक्रेता से दवाई लेनें पर क्युँ मजबूर किया जा रहा है? क्या इसके पीछे दवाई के विक्रेता को आर्थिक लाभ दीलवाना मकसद है ?

अहमदाबाद के सारें विधायक ओर पार्षदों को लोगों को हो रही इस परेशानी के बारे में या तो पता नहीं या फिर वे भी इस आपसी साँठगाँठ का कुछ नहीं बिगाड सकते। राजनेताओं को यह बात याद रखनी चाहिए कि जब जनता को इमानदार लोगों का विकल्प मीलेगा जो उनके स्वास्थ्य और शिक्षा जैसे मौलिक अधिकार उन्हें दीलवा सके तो सारें भ्रष्ट लोगों को फिर जनता घर बैठाएगी।